Headlines

समर्पण संस्था ने लोकतंत्र और संवैधानिक अधिकारों पर आयोजित किया तीन दिवसीय प्रशिक्षण शिविर

Samarpan Sanstha organized a three-day training camp on democracy and constitutional rights
WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now

कोडरमा: सामाजिक जागरूकता और लोकतंत्र को सुदृढ़ करने के उद्देश्य से समर्पण संस्था ने होटल सेलिब्रेशन में एक तीन दिवसीय प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया। इस शिविर का उद्देश्य कार्यकर्ताओं के बीच संविधान, स्थानीय स्वशासन, विकेंद्रीकरण, और ग्राम सभा के सशक्तिकरण पर गहन चर्चा करना था। शिविर के दौरान, प्रतिभागियों ने संविधान के 73वें संशोधन, पंचायती राज अधिनियम, ग्राम सभा संचालन की नियमावली, और झारखंड की विशेषाधिकार योजनाओं के बारे में जानकारी प्राप्त की।

संविधान और विकेंद्रीकरण पर विस्तृत चर्चा

शिविर में विशेष रूप से संविधान की पाँचवीं और छठी अनुसूचियों के तहत दिए गए विशेषाधिकारों पर चर्चा की गई। यह सत्र कार्यकर्ताओं को ग्राम सभा और पंचायती राज की शक्ति और उनके सफल संचालन के बारे में समझाने पर केंद्रित था। प्रतिभागियों ने झारखंड पंचायती राज अधिनियम और ग्राम सभा के महत्व को भी बारीकी से जाना, जिससे स्थानीय स्वशासन की ताकत को समझा जा सके।

धनबाद में मुख्यमंत्री ने 36,996 लाभुकों को जॉब ऑफर लेटर वितरित किया

समर्पण संस्था की सामाजिक यात्रा

समर्पण संस्था के सचिव इन्द्रमणि साहू ने इस अवसर पर कहा कि समर्पण की यह यात्रा कोडरमा से शुरू होकर राज्य के कई जिलों तक पहुंच चुकी है। संस्था का मुख्य उद्देश्य महिलाओं, युवाओं और बच्चों के अधिकारों की सुरक्षा और उन्हें सशक्त बनाना है। उन्होंने कहा कि “ग्राम स्वराज की दिशा में समर्पण का योगदान निरंतर बढ़ रहा है और ग्राम सभा का सशक्तिकरण हमारी प्राथमिकता है।”

रामगढ़ में डिस्ट्रिक्ट डेवलपमेंट कोऑर्डिनेशन एंड मॉनिटरिंग कमेटी (दिशा) की बैठक संपन्न

स्थानीय स्वशासन और कैडर निर्माण पर जोर

परियोजना प्रबंधक अलोक कुमार सिन्हा ने कहा कि पंचायतों में कैडर निर्माण की प्रक्रिया चल रही है, जो स्थानीय स्वशासन और ग्राम सभा सशक्तिकरण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। इसके तहत सरकारी योजनाओं से वंचित लोगों को जोड़ने और पंचायत समितियों को सक्रिय बनाने के लिए कई रणनीतियां बनाई गई हैं।

7th Pay Commission: इस दिवाली पर सरकार की शानदार सौगात,  4% DA बढ़ोतरी और मोटा बोनस

सामाजिक और सांस्कृतिक विरासत की समझ पर बल

मास्टर ट्रेनर सचिन कुमार ने ग्रामीण धरोहर और संस्कृति पर जोर देते हुए कहा कि गांव की सांस्कृतिक विरासत को समझना और उसका संरक्षण करना अत्यंत महत्वपूर्ण है। उन्होंने “गांव को जानो, गांव को समझो” पुस्तक के माध्यम से गांव की सामाजिक और सांस्कृतिक पहचान की गहरी समझ विकसित करने पर बल दिया।

भुरकुंडा पंचायत में मोबाइल डेमोंस्ट्रेशन वैन से वोटरों को मिला मतदान का प्रशिक्षण

WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now

प्रशिक्षण में उपस्थित प्रमुख प्रतिभागी

इस प्रशिक्षण शिविर में पिंकी देवी, योगेश कुमार, सुनीता देवी, मनीषा कुमारी, मेरियन सोरेन, मुकेश कुमार यादव, और नमिता कुमारी सहित कई अन्य कार्यकर्ताओं ने हिस्सा लिया। प्रशिक्षण के दौरान, प्रतिभागियों ने स्थानीय स्वशासन और समुदाय की भागीदारी के बारे में अपने विचार और अनुभव साझा किए।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *